Loading...
रविवार, जनवरी 25, 2015

नर्मदा यात्रा : 45 : बरमान

नर्मदा यात्रा : 45 : बरमान 








नर्मदा के उत्तर तट पर बरमान है और सामने के दक्षिण तट के बरमान खुर्द को छोटी बरमान भी कहते हैं। नर्मदा के प्रवाह के मध्य एक टापू और दोनों तटों पर घाटों का विस्तार है। मुख्य घाट उत्तर तट पर हैं। माना जाता है यहाँ ब्रह्मा जी ने तपस्या की थी और इसका नाम ब्रह्मा घाट था जो बाद में बिगड़कर बरमान घाट हो गया। जो घाट या स्थान प्रसिद्ध हो जाते हैं उन्हें हम नर्क में तब्दील कर देते हैं। बरमान घाट पर भी अतिक्रमण और गंदगी का ऐसा साम्राज्य था कि वहां रुकने से बेहतर आगे बढ़ना ठीक लगा। सोचता हूँ कि ऐसा क्यों है कि जिन स्थानों से श्रद्धा  का सीमित जुड़ाव है वे स्थान अब भी सुन्दर हैं और जहाँ-जहाँ श्रद्धा असीमित हुई है वे स्थान अपना सारा सौंदर्य  खो बैठे हैं। शायद ये श्रद्धा है भी नहीं। श्रद्धा तो असुंदर  भी सौंदर्य बख्श देती है और जो सुन्दर को असुंदर कर दे वो श्रद्धा नहीं श्रद्धा का पाखण्ड है  …

- अशोक जमनानी      




 
TOP